तू कर मेहनत चुपचाप, सफलता , इक दिन शोर मचायेगी !
तू बाँट खुशी जग में , खुशियाँ , चल कर तेरे घर आयेंगी !
जिसने भी दिल में बैर रखा , दिल बना दिया कचरा - डिब्बा ,
जब दिल में रखी गंदगी तो , फिर मख्खी ही मंडरायेंगी !
हिन्दू - मुस्लिम - मंदिर - मस्जिद, रैली-रैला -दंगे- कर्फ्यू ,
सोचो ये बातें भारत की , कैसी तस्वीर बनायेंगी ?
जब बात मान कर माँ की हम , अच्छे बच्चे बन जायेंगे ,
नेताओं की पूरी जाति , फिर भूखी ही मर जायेंगी !
कभी सीधे से , कभी बिंब बदल, मैं बात पुरानी कहता हूँ ,
तेरे ही हक़ में कहता हूँ , इक रोज समझ तो आयेंगी !
जिसका जो काम वो ठीक- ठाक, बस काम वो अपना कर जाये ,
सचमुच में भारत की सड़कें , तब सोने की बन जायेंगी !
तू बाँट खुशी जग में , खुशियाँ , चल कर तेरे घर आयेंगी !
जिसने भी दिल में बैर रखा , दिल बना दिया कचरा - डिब्बा ,
जब दिल में रखी गंदगी तो , फिर मख्खी ही मंडरायेंगी !
हिन्दू - मुस्लिम - मंदिर - मस्जिद, रैली-रैला -दंगे- कर्फ्यू ,
सोचो ये बातें भारत की , कैसी तस्वीर बनायेंगी ?
जब बात मान कर माँ की हम , अच्छे बच्चे बन जायेंगे ,
नेताओं की पूरी जाति , फिर भूखी ही मर जायेंगी !
कभी सीधे से , कभी बिंब बदल, मैं बात पुरानी कहता हूँ ,
तेरे ही हक़ में कहता हूँ , इक रोज समझ तो आयेंगी !
जिसका जो काम वो ठीक- ठाक, बस काम वो अपना कर जाये ,
सचमुच में भारत की सड़कें , तब सोने की बन जायेंगी !
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