tag:blogger.com,1999:blog-78209418896364595402024-03-18T14:04:28.257-07:00tanu thadaniTanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.comBlogger188125tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-70130674063966225772024-03-18T14:03:00.001-07:002024-03-18T14:03:55.012-07:00मैं भी चुप था, चुप थी वो भी, बस तन्हाई बोल रही थी ! <div>थोड़ी शर्म , झिझक थोड़ी सी, बंधन सारे खोल रही थी !</div><div><br></div><div>जीवन भर का लेखा जोखा,एक स्वांग सा उम्र का धोखा,</div><div>पर मेरी धड़कन में बस वो ,मुझमें खुशियाँ घोल रही थी! </div><div><br></div><div><br></div><div><br></div><div><br></div><div><br></div><div><br></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-19834049706388704872024-02-29T12:37:00.000-08:002024-03-07T23:30:56.306-08:00एक हो अहसास आते ही तेरे खुश्बू से,भर गया है मन ! <div>धूप ले के सिलवटें, आ गयी आंगन ! </div><div><br></div><div>तुम तो मेरे पास हो, आवाज की तरह, </div><div>मैं भी संग हूँ तुम्हारे, बन तेरा यौवन ! </div><div><br></div><div>इस जमाने की अदाओं, ने मुझे लूटा, </div><div>बस रुहानी प्यार से ही, भर मेरा दामन! </div><div><br></div><div>एक तू और एक मैं, बस हो यही दुनिया, </div><div>एक हो अहसास, न हो, दरमियाँ ये तन! </div><div><br></div><div>---------------------------- तनु थदानी</div><div><br></div><div><br></div><div><br></div><div><br></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-40852616604276966512024-02-08T03:05:00.000-08:002024-02-08T03:05:02.635-08:00ये कैसा हिंद है <b>इक सिंध था जो सिंधियों का, इक जहान था ! </b><div><b>उस सिंध में दादा जी का भी, इक मकान था ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>हमारी जमीन, संस्कृति, मुफत में बांट दी , </b></div><div><b>नेहरू ने सिंधु धार की, परवान काट दी ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>अब छुट्टी में, बच्चे कहो, किस गाँव जायेंगे ? </b></div><div><b>अब मिल के कब बैठेंगे, कब खुशियाँ मनायेंगे ?? </b></div><div><b><br></b></div><div><b>बच्चों को अब हम सिंधियत पर, क्या बतायेंगे ? </b></div><div><b>गांधी ने दर - बदर किया, क्या ये सुनायेगे ?? </b></div><div><b><br></b></div><div><b>पंजाब ओं बंगाल भी, यहाँ वहाँ गया, </b></div><div><b>जो सिंध झूलेलाल का था, वो कहाँ गया ? </b></div><div><b><br></b></div><div><b>हम शेर , मगर, राजनीति की भेंट चढ़ गये , </b></div><div><b>सब लाडे लोरियां, वतन के नाम कर गये ं ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>ख्वाहिश हेमू कलाणी की, बेकार हो गई, </b></div><div><b>दाहर सेन वाले सिंध की, जमीन खो गई ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>जब बंट रहे थे सब, मिटाये जा रहे थे हम, </b></div><div><b>बस राष्ट्र गान में बचे, इस बात का है ग़म ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>सर्वप्रथम सभ्यता की, इक गवाह है सिंधु , </b></div><div><b>भारत के सीने रिस रही, इक आह है सिंधु ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>सिंधु के बिना गंगा जो, परिपूर्ण नहीं है , </b></div><div><b>तो सिंध के बिना ,ये हिंद पूर्ण नहीं है ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>बच्चा जो गुम है भीड़ में, वो मेरा सिंध है, </b></div><div><b>न सिंधु, सिंध की जमीं, ये कैसा हिंद है ?? </b></div><div><b>------------------------ तनु थदानी</b></div><div><b><br></b></div><div><br></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-67716886727726795042024-02-04T06:33:00.000-08:002024-02-04T06:33:52.107-08:00गरज है खुद की, वरना,प्रार्थनायें, कौन करता है<b>गरज है खुद की, वरना,प्रार्थनायें, कौन करता है ? </b><div><b>भला दूजे के दुख में,अपनी आंखें, कौन भरता है ? </b></div><div><b><br></b></div><div><b>किसी ने एक बीघे के लिए, भाई गंवा दिया , </b></div><div><b>ऐसी क्या है मजबूरी, जो ये सब , करना पड़ता है! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>तेरे पद तक, तेरे आगे ओं पीछे, अर्दली होंगे , </b></div><div><b>तेरे पद छोड़ते ही, देखना कि, कौन रहता है ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>खलल खामोशियों में क्यूं न हो, जब ख्वाहिशें खनके, </b></div><div><b> हो ग़र ख्वाहिशें ज्यादा, तो मानव, रोज मरता है ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>हमारे सब मुखौटे पारदर्शी, हो गयें हैं अब , </b></div><div><b>बाहर हो या हो घर, अब संभल के, रहना पड़ता है! </b></div><div><b>------------------------------ तनु थदानी</b></div><div><b><br></b></div><div><br></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-11048691952932717142024-02-04T05:31:00.001-08:002024-02-04T05:54:02.637-08:00हमेशा साथ होते हैं, मगर अक्सर नहीं मिलते ! <b>हमेशा साथ होते हैं, मगर अक्सर नहीं मिलते ! </b><div><b>लपक के हाथ मिलाते, मगर खुल कर नहीं मिलते! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>वो मजदूर जो कि दूसरों के, घर बनाते हैं, </b></div><div><b>उन्ही के घर पे सलामत, कभी छप्पर नहीं मिलते! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>बड़ी खाई है सन्नाटे की, गिरता जा रहा हूँ मैं, </b></div><div><b>हमारे शहर में परिवार वाले, घर नहीं मिलते ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>तुम्हीं से चोट हूँ खाता, बिखर के टूट हूँ जाता, </b></div><div><b>तुम्हारे हाथ में लेकिन कभी, पत्थर नहीं मिलते ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>किसी की मुस्कुराहट में, कोई छल हो भी सकता है, </b></div><div><b>मैं इसको जान न पाता कभी, तुम ग़र नहीं मिलते ! </b></div><div><b>------------------------------- तनु थदानी</b></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-5044269656136507112024-02-04T05:06:00.001-08:002024-02-04T05:07:54.205-08:00कीचड़ से नाराज न हो <b>आते धोखे उभर के जब जब, अपनेपन को छिलते हैं! </b><div><b>दिल न मिलता,रस्म की खातिर,हाथ ही केवल मिलते हैं!</b></div><div><b><br></b></div><div><b>अनाथ आश्रम भरे पड़े हैं, दीन गरीब के बच्चों से, </b></div><div><b>बड़े घरों के मम्मी पापा, वृद्ध आश्रम में मिलते हैं ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>छोटी हो या बड़ी इमारत, यही कहानी सबकी है, </b></div><div><b>निश्चित तौर पे इक न इक दिन,सबसे पाये हिलते हैं ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>अनपढ़ श्रम बेच के खाता, पढ़े लिखों की शर्म बिकी, </b></div><div><b>अब भी नहीं है बिगड़ा कुछ चल, आदर्शों को सिलते हैं! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>खाली जेब ही होती भारी, दुनियाँ में समझाया है, </b></div><div><b>कीचड़ से नाराज न हो, कीचड़ में कमल भी खिलते हैं! </b></div><div><b>--------------------------------- तनु थदानी</b></div><div><b><br></b></div><div><br></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-86265726343053923762024-02-03T11:14:00.001-08:002024-02-04T04:49:15.693-08:00बड़ा जालिम जमाना है<b>किसी की मौत पे बंदा बड़ा,मासूम होता है ! </b><div><b>सब रो भी रहे ; हैं कि नहीं, फिर वो रोता है! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>कोई हमदर्द बन के छल गया, किस्सा पुराना है, </b></div><div><b>वो छलिया आजकल हमदर्द बन के, साथ सोता है! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>जो मुझको छोड़ के जाना है तो जाओ, मगर सुन लो, </b></div><div><b>किसी के भी बिछड़ने से यहाँ, कोई न रोता है ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>किसी ने शक्ल देखी, कह दिया कि खूबसूरत हो, </b></div><div><b>भला चरित्र जैसी शै को, आखिर कौन ढ़ोता है ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>उसी ने पीठ थपथपाई, फिर आंतें निकाल ली ं, </b></div><div><b>बड़ा जालिम जमाना है, यहाँ ऐसा ही होता है ! </b></div><div><b>------------------------------- तनु थदानी</b></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-83380438357985251762024-02-02T10:08:00.000-08:002024-02-02T10:08:42.208-08:00 माँ वो होती हैपचासो बार माथा चूमती है, माँ वो होती है! <div>खिलाने खाना दिन भर घूमती है, माँ वो होती है! </div><div><br></div><div>कभी ताबीज लाती है, टीका काला लगाती है, </div><div>जो बच्चा हंस पड़े तो हंस दे, रोये तो रोती है! </div><div><br></div><div>कि जब तक जागता बच्चा, सीने से लगा जागे, </div><div>बच्चा सो भी जाये माँ तो, आंखें खोल सोती है! </div><div><br></div><div>यही है प्रेम की पराकाष्ठा, गहराई प्रेम की, </div><div>किसी मूरत को काया दे के अपनी, काया खोती है! </div><div>---------------------------------- तनु थदानी</div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-14217455383751205022024-02-02T10:07:00.001-08:002024-02-02T10:07:39.479-08:00तेरा पता मिले, आ के वहां खो जाऊंगा <b>तेरा पता मिले, आ के वहां खो जाऊंगा ! </b><div><b>तू मिले न मिले, मैं तेरा हो जाऊंगा ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>तेरे रूतबे, तेरे महलों से, सरोकार नहीं, </b></div><div><b>आंख भर देख लूं तुझको, फिर सो जाऊंगा ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>हो कोई साथ मेरे, पर जेहन में तू ही बस, </b></div><div><b>मैं खुद का जिक्र, तेरे सीने में बो जाऊंगा ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>तेरी यादों की सरहदों का, कोई अंत नहीं, </b></div><div><b>पूरी तसल्ली से भटकूंगा, गुम हो जाऊंगा! </b></div><div><b>------------------------------ तनु थदानी</b></div><div><div><b><br></b></div><div><br></div></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-4151096284268736672024-02-02T09:57:00.001-08:002024-02-02T09:57:36.285-08:00हैरान हूँ<b>मैं निखर जाता जो मुझमें, मेरा मैं ढ़हता कभी! </b><div><b>जो निखरता तो शिकायतें, भी नहीं करता कभी! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>पहले घंटों था बिताता, बातें मनवाने को ही, </b></div><div><b>अब बहस करने को मेरा, मन नहीं करता कभी! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>लोग मतलबों से ही, मिलते गये, हटते गये, </b></div><div><b>मेरे मतलबों से मतलब, उनको न रहता कभी ! </b></div><div><b><br></b></div><div><b>मौन से तब भी न थीं, खुशियों की रिश्तेदारियाँ, </b></div><div><b>हैरान हूँ, खुशियों में भी, मौन है बहता कभी ! </b></div><div><b>------------------------- तनु थदानी</b></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-33662169109045245482024-02-01T09:23:00.000-08:002024-02-01T09:23:12.178-08:00आओ कोशिश करते हैंबचपन सा मीठा हो जाना, आओ कोशिश करते हैं! <div>सचमुच में अच्छा हो जाना, आओ कोशिश करते हैं! </div><div><br></div><div>खूब कमाया, दुनियाँ घूमी, लेकिन ये इक टीस रही, </div><div>संग बैठ परिवार के खाना , आओ कोशिश करते हैं! </div><div><br></div><div>ग़र खुश रहना सदा तुम्हे तो, अपने पिता के चेहरे पर, </div><div>हंसी का इक कारण बन जाना, आओ कोशिश करते हैं! </div><div><br></div><div>सोना जगना पीना खाना , पशु भी करते यही सभी, </div><div>जीवन का इक लक्ष्य बनाना, आओ कोशिश करते हैं! </div><div>------------------------------------ तनु थदानी</div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-57162318685519561512024-01-27T10:45:00.001-08:002024-01-27T10:49:16.433-08:00ऐसी भी क्या नाराजगी ऐसी भी क्या नाराजगी, छोड़ दिया नाराज भी होना! <div>मुस्काओ फिर मुस्कायेगा,अपने घर का कोना कोना! </div><div><br></div><div>एक जिंदगी,एक यात्रा, एक ही साथी, जो कि तुम हो, </div><div>लड़ो या रुठो,सब वाजिब है,शर्त मगर है प्यार न खोना! </div><div><br></div><div>पूरी दुनिया घूम के जाना, मेरी दुनिया बस तुम तक है, </div><div>तेरे संग ही जीवन लगता,बाकी पल तो,सांस का ढ़ोना! </div><div><br></div><div>प्यार है तुमसे, इसे जताना, नहीं जरूरी रोज रोज ही, </div><div>जब मैं बोलूं, मैं हूँ न,तो,तुम भी कहना, तुम भी हो ना! </div><div><br></div><div>------------------------------------- तनु थदानी</div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-52231471278846767312024-01-07T11:39:00.001-08:002024-01-07T11:39:04.707-08:00कर लो नाटक<div>सरकारें बनती थी, गठबंधन से, बात पुरानी है, </div><div>अब विपक्ष गठबंधन करता, ये भी अजब कहानी है! </div><div><br></div><div>राम को झूठ बताया , अब वो राम राम चिल्लाते हैं, </div><div>कर लो नाटक, देख रही ये, जनता बड़ी सयानी है! </div><div><br></div><div>नस्ल गधे की, हरगिज घोड़ा बना नहीं सकता कोई, </div><div>उस पे जिद कि चमचों से ही, टूटी नाव चलानी है! </div><div><br></div><div>देख चौकन्ना चौकिदार को, चोरों में खलबली मची, </div><div>चोर हो रहे इकजुट, चाभी घर की जो हथियानी है! </div><div><br></div><div>--------------------------------- तनु थदानी</div><div><br></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-45086256279330306462023-12-16T18:59:00.000-08:002023-12-16T18:59:49.082-08:00तेरी आँखे हैं खूबसूरत<div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on">तेरी आँखे हैं खूबसूरत ,बस इतनी सी कमी है, </div><div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on">ना ही कोई हया है ,ना ही कोई नमी है ! </div><div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on"><br></div><div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on"><br></div><div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on">वो था ही नहीं वैसा, जैसा वो दिखाता था, </div><div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on">उड़ उड़ उड़ाया यौवन, अब खोजता जमीं है! </div><div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on"><br></div><div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on">जिस प्यार में हो मतलब, वो प्यार ही बे मतलब, </div><div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on">गर प्यार हो हम ही से, तो तुम में भी हम ही हैं! </div><div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on"><br></div><div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on">जीवन की दौड़ में सब, हैं हांफ हांफ जीते, </div><div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on">हाथों में हाथ हो तो, दुनियाँ वहीं थमी है! </div><div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on">---------------------------- तनु थदानी</div>
Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-68325054060410843342023-12-16T18:48:00.000-08:002023-12-16T18:48:17.233-08:00प्यार को बेजान शब्दों ,से भला क्या वास्ता ? लब पे शेर आये की ,आंखों में गज़ल भर आई ! <div>उड़ के यादों के शहर से, इक खुशी सी घर आई! </div><div><br></div><div>जद में सफर, के जो थे , तन्हाई के किस्से बने , </div><div>खिल उठे, तुम आ रही हो, जब से ये खबर आई! </div><div><br></div><div>मैं भी कश्मकश में था ,ओ तू भी कश्मकश में थी, </div><div>शर्म भी बेशर्म बन के, गालों पे उभर आई ! </div><div><br></div><div>प्यार को बेजान शब्दों ,से भला क्या वास्ता ? </div><div>प्यार की हर पंक्तियाँ , मुस्कान में नज़र आई ! </div><div>--------------------------------- तनु थदानी</div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-64525662617309470312023-12-16T18:46:00.000-08:002023-12-16T18:46:32.064-08:00वजह की मौत हो जाये<div>वजह की मौत हो जाये</div><div><br></div>मेरे कदमों की धूल से ,मकां मैं इक बनाऊंगा ! <div>तुम्हारी मुस्कुराहट को, दीवारों पे सजाऊंगा ! </div><div><br></div><div>थे जितने हौसले, सबों की मैंने छत बना डाली, </div><div>मेरे सपनों की सीढ़ी को मैं,छत तक ले के जाऊंगा! </div><div><br></div><div>मेरे दुख दर्द आंसू छाले, सब हैं नींव में डाले, </div><div>मेरा मकां बनेगा घर , मैं खुल के मुस्कुराऊंगा ! </div><div><br></div><div>वजह की मौत हो जाये, तभी, जब मुस्कुराऊं मैं, </div><div>रहुंगा खुश तभी तो खुश, सबों को रख भी पाऊंगा! </div><div>--------------------------------- तनु थदानी</div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-66477381730289326112023-12-13T03:58:00.000-08:002023-12-13T03:58:08.871-08:00हो के भी नाराज मैं आखिर कर क्या लूंगा?<div class="separator" style="clear: both; text-align: center;">
<a href="https://blogger.googleusercontent.com/img/a/AVvXsEiJE1RwvWtmAvuK_5A4ioq5GbmYQKD6o27fvxjgWVzgi9MXeyGJ1IJBMY-1K6DQOuQMS5fHgyu-b1_t5fzFppu3ajge1g93WkVutqtSNFVXf98hER8vMEtwhggE7GJLYwTCKct1ZG3R8BYquPZA2SlBk0A5t8bYRo8pwI9xZt3BtaxldhZvHH9VbLdQe_c" imageanchor="1" style="margin-left: 1em; margin-right: 1em;">
<img border="0" src="https://blogger.googleusercontent.com/img/a/AVvXsEiJE1RwvWtmAvuK_5A4ioq5GbmYQKD6o27fvxjgWVzgi9MXeyGJ1IJBMY-1K6DQOuQMS5fHgyu-b1_t5fzFppu3ajge1g93WkVutqtSNFVXf98hER8vMEtwhggE7GJLYwTCKct1ZG3R8BYquPZA2SlBk0A5t8bYRo8pwI9xZt3BtaxldhZvHH9VbLdQe_c" width="400">
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</div><div><div>बात नहीं थी कुछ भी, मसला, खड़ा हो गया ! </div><div>खून का रिश्ता इकदम चिकना, घडा़ हो गया! </div></div><div><br></div><div>बेटा बिना मशवरे ही सब निर्णय लेता, </div><div>खुश ही हो लूं की अब तो वो; बड़ा हो गया! </div><div><br></div><div>हो के भी नाराज मैं आखिर कर क्या लूंगा?</div><div>दर्द पिता का छलका, घाव, हरा हो गया! <br></div><div><br></div><div>ढलते सूरज ने मुझको औकात बताई, </div><div>मुझसे मेरी छाया का कद, बड़ा हो गया! </div><div>-------------------------- तनु थदानी</div><div><br></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-23289330854895853012023-12-13T03:56:00.000-08:002024-02-08T09:12:09.329-08:00हम लाजवाब कातिलकुछ होते न पहाड़ , पत्थरों की एकता है!<br>जुड़ के, धरा से जो, आस्मां को देखता है!<div><br></div><div>आना है हाथ खाली, जाना है हाथ खाली, <br>जीवन का फलसफा ये,हर कोई फेकता है! </div><div> </div><div>जिंदगी है इक तवा तो, भरपूर प्यार सेको, </div><div>मत देखो इस तवे पे, कोई क्या सेकता है ! </div><div><br></div><div>हम लाजवाब कातिल, खुद ही की उम्र खाते, </div><div>जब उम्र हमें खाती, कहते हैं ये खता है! </div><div>----------------------------- तनु थदानी <div>
<a href="https://blogger.googleusercontent.com/img/a/AVvXsEikK82jr5AMhowA7Fd5YSfTZPciosZB4nCnsldov7h0ixFNwTlwhzRk9riG-_gtxWgmW-I4y1cZqt2RbLc8R0jIf9MOgq4hr0etI7FRyPlGjeUnH3B8cqYg5XeUAv8556d3TiziIhBzpgltMvid8rNL4AQ0RiPOJldvQ2Dbe9AVnkS_iXk9QkEy_ddr2_E">
<img border="0" src="https://blogger.googleusercontent.com/img/a/AVvXsEikK82jr5AMhowA7Fd5YSfTZPciosZB4nCnsldov7h0ixFNwTlwhzRk9riG-_gtxWgmW-I4y1cZqt2RbLc8R0jIf9MOgq4hr0etI7FRyPlGjeUnH3B8cqYg5XeUAv8556d3TiziIhBzpgltMvid8rNL4AQ0RiPOJldvQ2Dbe9AVnkS_iXk9QkEy_ddr2_E" width="400">
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</div></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-17187473955903227652023-12-01T23:32:00.000-08:002023-12-13T04:03:56.324-08:00सामान रखिये कम , सफ़र का उसूल हैसामान रखिये कम , सफ़र का उसूल है ! <div>अरमान दिल में कम तो,दुख दर्द फूल है ! </div><div><br></div><div>अपनो से हार कर रहे, अपनो के सऺग तो, </div><div>ये जिंदगी का खेल भी, पैसा वसूल है ! </div><div><br></div><div>माँ बाप भाई जिद की अगर, भेंट चढ़ गयें, </div><div>गहने औ घर रूपया रुआब, सब ही धूल है! </div><div><br></div><div>मालिक बने नौकर बने, या संत या जोकर बने, </div><div>हम खुश रहें, सब खुश रहें, जीवन का मूल है! </div><div>--------------------------------- तनु थदानी</div><div><br></div><div><br></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-62251856832866085062023-12-01T19:47:00.001-08:002023-12-01T19:47:25.120-08:00यारों tanu thadani तनु थदानी ग़ज़ल <div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on">
डरे सब कैमरे से ; रब से क्यूं न डरता है यारों !<br>
अगर तुम मानते रब को ; वो देखा करता है यारों !<br>
<br><br>
कि जिस रब ने दी बुद्धि ; दुनियां खूबसूरत दी ;<br>
क्यूं उसकी चापलूसी में ;मारता ; मरता है यारों ?<br>
<br><br>
तुम्हारे धर्म की पुस्तक ; सभी छलनी है सुंदर सी ;<br>
यही सच है तो खुशियाँ ; क्यूं उसी से भरता है यारों ?<br>
<br><br>
सफर तो पूछ लेते हैं ; हम हाथों की लकीरों से ;<br>
मगर रस्ता तो खुद ही को ; बनाना पड़ता है यारों !<br>
--------------------------- तनु थदानी </div>
Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-44720739967383032482023-12-01T19:45:00.000-08:002023-12-16T18:42:18.544-08:00खामोशी के बाज़ार में, मुस्कान गुम हुई रोटी से मैं लिपटा हुआ, अख़बार बन जाऊँ! <div>भूखे के लिए रोटी वाला, प्यार बन जाऊँ! </div><div><br></div><div>मैं प्यार के दो लफ्ज़ पे, सब कुछ लुटाता हूँ, </div><div>पैसों से गर बिक जाऊँ तो , बेकार बन जाऊँ! </div><div><br></div><div>पढ़ा लिखा के माँ ने अंत में, बस दी नसीहत कि, </div><div>मैं दिल से इक अनाड़ी सा , गँवार बन जाऊँ! </div><div><br></div><div>खामोशी के बाज़ार में, मुस्कान गुम हुई, </div><div>तो क्यों न मैं खुशी का इक, व्यापार बन जाऊं! </div><div>--------------------------------- तनु थदानी</div><div><br></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-63766308159355748382023-11-18T03:17:00.000-08:002023-11-18T03:17:38.889-08:00tanu thadani तनु थदानी अरी सखी <div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on">
एक्खट - दुक्खट लील गया,ये शहर कमीना !<br>
अरी सखी ,न आना,कठिन है यहाँ पे जीना !<br>
<br>
चश्मे काले भीतर आंखे , बदन टटोले ,<br>
घर भीतर भी हम आराम से, रहें कभी ना !<br>
<br>
तोहरे गाँव मा अबहूं , काका भईया हैं ना ?<br>
शहर ने बीच चौराहे, इ सब रिश्ता छीना !<br>
<br>
<br>
पेट की खातिर शर्म बिके,तुम समझ रही हो ?<br>
यही शहर की बातें हमको , कभी जमी ना !<br>
------------------- तनु थदानी</div>
Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-91256630230249349052023-11-03T08:48:00.001-07:002023-11-03T08:48:41.918-07:00लिख के जो रोया मैं<div>लिख के जो रोया मैं<br></div><div><br></div><div>जो इश्क़ को जिस्म का, चस्का चटा गया, </div><div>वो इश्क़ की तासीर से , खुश्बू हटा गया !</div><div><br></div><div>जो इश्क़ है तुम्ही से, कभी कह नहीं पाया, </div><div>रोई तुम्हारी आँखें, मैं छटपटा गया ! </div><div><br></div><div>जब भी लड़े खाई खुदी, पर जब भी मैं रोया, </div><div>मैं हूँ ना कह के भाई वो , खाई पटा गया ! </div><div><br></div><div>आँखों में आँसू, लब पे हँसी ,सब जुगाड़ था, </div><div>लिख के जो रोया मैं, वो पढ़ के मुस्कुरा गया ! </div><div>------------------------------ तनु थदानी<br></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-58935245518079476682023-11-03T07:41:00.000-07:002023-11-03T07:41:57.402-07:00बुरी बात पे कान न रखना<div class="separator" style="clear: both; text-align: center;">
<a href="https://blogger.googleusercontent.com/img/a/AVvXsEjPNW-E6kTfgiTFmKty1LMOy5NmCxQZIjMdhOuCViP3qYYZOFr_AaP5bTWa6gZUXj1EQIcjsC1Ky8sEzr-U0RJufeo3uzvBUxQSr_Vav2mWHxRmw_mJu2Sjn4RPfchkv-VYpRsuFCfofH859gFyNY7PwO8F6sFCyN6sWf4Gs0pCu6O4cURl32WLGaX_yK4" imageanchor="1" style="margin-left: 1em; margin-right: 1em;">
<img border="0" src="https://blogger.googleusercontent.com/img/a/AVvXsEjPNW-E6kTfgiTFmKty1LMOy5NmCxQZIjMdhOuCViP3qYYZOFr_AaP5bTWa6gZUXj1EQIcjsC1Ky8sEzr-U0RJufeo3uzvBUxQSr_Vav2mWHxRmw_mJu2Sjn4RPfchkv-VYpRsuFCfofH859gFyNY7PwO8F6sFCyN6sWf4Gs0pCu6O4cURl32WLGaX_yK4" width="400">
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</div><div>लड़ने का सामान न रखना! </div><div>बुरी बात पे कान न रखना! </div><div><br></div>पता तुम्हारा कोई न जाने<div>ऐसी तू पहचान न रखना! </div><div><br></div><div>बात तुम्हारी समझ न आये, </div><div>ऐसा मुंह में पान न रखना! </div><div><br></div><div>तुम्ही सही हो सदा जो बोले, </div><div>ऐसा मित्र नादान न रखना! </div><div><br></div><div>तुझसे तेरे दूर हो जायें, </div><div>इतना भी तू ज्ञान न रखना! <br></div><div><br></div><div>पड़े जो चुनना दो में इक तो, </div><div>घर रखना मकान न रखना! </div><div><br></div><div>फुटपाथ पे खुशी बाटना, </div><div>नफरत की दुकान न रखना! </div><div><br></div><div>दिल हो जाये भारी भारी, </div><div>इतने भी अरमान न रखना! </div><div><br></div><div>पढ़ लिख के साहब बनना पर, </div><div>मिलने में व्यवधान न रखना! </div><div><br></div><div>--------------- तनु थदानी</div><div><br></div><div><br></div>Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-7820941889636459540.post-65644002620240629692023-10-21T05:50:00.000-07:002023-10-21T05:50:03.984-07:00तुम्हें तो प्यार हो न हो , मगर हम प्यार करते हैं!<div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on">
तुम्हें मरहम लगाता हूँ ,हमारे हाथ जलते हैं !<br>
तुम्हें तो प्यार हो न हो , मगर हम प्यार करते हैं!<br>
<br>
तुझे हम प्यार करते हैं प्रिय , इसलिए तुझको<br>
तुझे कमियों के संग संग ही,स्वीकार करते हैं !<br>
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कोई जो संग शर्तों के , करे है प्यार की बातें ,<br>
मेरी मानो वो प्रेमी , प्रेम संग व्यापार करते हैं !<br>
<br>
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हमने किया जो प्यार तो, साबित भी हम करें ? </div><div dir="ltr" style="text-align: left;" trbidi="on">हम ही से इस तरह का क्यूँ, व्यवहार करते हैं ?? </div>
Tanu Thadanihttp://www.blogger.com/profile/09130115894496862292noreply@blogger.com0